Thursday, August 25, 2011

किस देवता को कौन सा फूल चढ़ाएं


हिंदू धर्म में विभिन्न धार्मिक कर्म-कांडों में फूलों का विशेष महत्व है । धार्मिक अनुष्ठान, पूजन, आरती आदि कार्य बिना पुष्प के अधूरे ही माने जाते हैं । पुष्प के संबंध में शारदा तिलक में कहा गया है-
दैवस्य मस्तकं कुर्यात्कुसुमोपहितं सदा ।
अर्थात देवता का मस्तक सदैव पुष्प से सुशोभित रहना चाहिए । वैसे तो किसी भी भगवान को कोई भी फूल चढ़ाया जा सकता है लेकिन कुछ पुष्प होते हैं जो देवताओं को विशेष प्रिय हैं । कौन से भगवान की पूजा किस फूल से करें, इसके बारे में यहां संक्षिप्त जानकारी दी जा रही है-
श्रीगणेश- आचार भूषण ग्रंथानुसार भगवान श्रीगणेश को तुलसीदल को छोड़कर सभी प्रकार के फूल चढ़ाए जा सकते हैं ।
शंकरजी- भगवान शंकर को धतूरे के पुष्प, हरसिंगार, व नागकेसर के सफेद पुष्प, सूखे कमल गट्टे, कनेर, कुसुम, आक, कुश आदि के पुष्प चढ़ाने का विधान है ।
सूर्य नारायण- इनकी उपासना कुटज के पुष्पों से की जाती है। इसके अलावा कनेर, कमल, चंपा, पलाश, आक, अशोक आदि के पुष्प भी प्रिय हैं ।
भगवती गौरी- शंकर भगवान को चढने वाले पुष्प मां भगवती को भी प्रिय हैं । इसके अलावा बेला, सफेद कमल, पलाश, चंपा के फूल भी चढ़ाए जा सकते हैं ।
श्रीकृष्ण- अपने प्रिय पुष्पों का उल्लेख महाभारत में युधिष्ठिर से करते हुए श्रीकृष्ण कहते हैं- मुझे कुमुद, करवरी, चणक, मालती, नंदिक, पलाश व वनमाला के फूल प्रिय हैं ।
लक्ष्मीजी- इनका सबसे अधिक प्रिय पुष्प कमल है ।
विष्णुजी- इन्हें कमल, मौलसिरी, जूही, कदम्ब, केवड़ा, चमेली, अशोक, मालती, वासंती, चंपा, वैजयंती के पुष्प विशेष प्रिय हैं ।
किसी भी देवता के पूजन में केतकी के पुष्प नहीं चढ़ाए जाते।

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